मिस्र से निकला।
वह कनान देश से निकल कर रेगिस्तानी इलाको में वापिस गया।
अब्राम कॆ पास काफी जानवर, काफी चांदी, कौर काफी सोना था।
जीवित प्राणी और गाय-बैल।
अब्राम और उसका परिवार अपने सफर में काफी पढ़ावों से और अलग अलग जगहों से होकर गए। इसका सीधा मतलब यह है कि उन्होने अपनी यात्रा जारी रखी।
उसकी यात्रा का समय स्पष्ट किया गया था कि वह उसी जगह पर आए जहाँ पर उसने अपने तम्बू जाने से पहले खड़े किए थे।
यहोवा के नाम में प्रार्थना की और उसकी आराधना की।
वहाँ पर उन दोनों के जानवरो को चराने के लिए ना तो पर्याप्त जगह थी और ना ही पर्याप्त पानी था।
इसमें पशुधन [ गाय-बैल आदि] शामिल है, जिन्हें चरागाह [ चरने का सथान] और पानी की आवश्यकता होती है
वे इकट्ठा जी नहीं सकते थे।
यह एक और कारण है कि वह जगहा उन दोनो के लिए काफी नही थी।
हम झगड़ेंगे नहीं।
लड़ना।
और मै अपने चरवाहों को और तू अपने चरवाहों को एक दुसरे से झगड़ने से रोकेगे।
क्योंकि हम एक परिवार हैं।
["रिश्तेदारों.]" लूत अब्राहम का भतीजा था
यह बयान एक अच्छे अन्दाज में कहा गया है जैसे यह सारी भूमि तेरे ही करने के लिए है।
अब्राम लूत से प्यार से बात कर रहा था और उसे कुछ ऐसा करने के लिए प्रोत्साहित कर रहा था जिससे उन दोनों को मदद मिल सके।
इसका अर्थ यह है कि अगर वह,एक तरफ जाएगा तो दुसरा ,दुसरी तरफ जाएगा यौर अगर तुम उत्तर में जाएगा तो मैं दक्षिण
यह वाक्य यरदन नदी के समान्य क्षेत्र को दर्शा रहा है।
वहाँ पर काफी पानी था।
“यहोवा की वाटिका, और मिस्र देश,” यह दोनों दो अलग स्थान हैं।
यह अदन कि वाटिका का दूसरा नाम है।
यह एक पेड़ पौदों, हरी बरी घास और भिन्न-भिन्न फुलों से बड़ा हुआ एक बाग हो सकता है।
सदोम और गमोरा के नाश होने से पहले ही लूत ने वहा रहना शुरू कर दिया था।
यहाँ पर “वे ” शब्द लूत और अब्राम को दर्शा रहा है कि वे आपस में परिवार और भाईबन्दु थे।
बसे रहना या रुके रहना।
कनानियों का देश।
इसका यह अर्थ है कि उन्होने अपने तम्बू सदोम के निकट और सदोम कि ओर सीदा जाने वाले रासते पे लगाए।
लूत के अब्राम को छोड़ने के बाद।
पूरे देश में घूम-घूमकर चलना।
यह नाम उस आदमी का है जिसने अनजिर के पेड़ को खरीदा था
हेब्रोन एक जगह का नाम है।
एक वेदी यहोवा कि महिमा और आराधना के लिए बनाई।